पिया बन बैठे , प्यार जानते नही
तकरार कर बैठे , मनाऊ मानते नहीं ।
दुल्हन बनाने से पहले
किये थे वादे कितने सारे
लगता था , ला दोगे चाँद सितारे ।
वादे तो वादे ही रह गये
हर छोटी बातों में लड़ते हो ।
पिया बन बैठे , प्यार जानते नहीं
तकरार कर बैठे , मनाऊ मानते नहीं ।
दुल्हन बनने से पहले
देखे थे खाव्ब कितने सारे
सोचा था घर हो समुंदर किनारे ।
समुंदर तो सपने में ही रह गये
एक नदी भी न दिखा पाए हो ।
पिया बन बैठे , प्यार जानते नही
तकरार कर बैठे , मनाऊ मानते नहीं ।
- अमर
तकरार कर बैठे , मनाऊ मानते नहीं ।
दुल्हन बनाने से पहले
किये थे वादे कितने सारे
लगता था , ला दोगे चाँद सितारे ।
वादे तो वादे ही रह गये
हर छोटी बातों में लड़ते हो ।
पिया बन बैठे , प्यार जानते नहीं
तकरार कर बैठे , मनाऊ मानते नहीं ।
दुल्हन बनने से पहले
देखे थे खाव्ब कितने सारे
सोचा था घर हो समुंदर किनारे ।
समुंदर तो सपने में ही रह गये
एक नदी भी न दिखा पाए हो ।
पिया बन बैठे , प्यार जानते नही
तकरार कर बैठे , मनाऊ मानते नहीं ।
- अमर
No comments:
Post a Comment